नैशनल ऐरोनॉटिक्स ऐंड स्पेस ऐडमिनिस्ट्रेशन (NASA) ने एक तस्वीर शेयर की है जिसे देखकर लोग अपना दिल थामने को मजबूर हैं। यह तस्वीर है से गुजर रहे एक न्यूट्रॉन सितारे की। सुपरनोवा किसी तारे में हुए भयंकर विस्फोट को कहते हैं जिसके बाद उस तारे का जीवन खत्म हो जाता है। ऐसी घटनाओं को दुर्लभ माना जाता है और इन्हें देख पाना अपने आप में बेहत उत्साहजनक है।
क्या था यह न्यूट्रॉन स्टार?
यह तस्वीर NASA की चंद्रा-एक्सरे ऑब्जर्वेटरी ने ली है जिसमें सुपरनोवा से बचे RCW 103 के बीच यह तेजी से चमकता न्यूट्रॉन स्टार दिख रहा है। NASA के मुताबिक किसी न्यूट्रॉन स्टार में मैटर ऐसे पैक होता है कि शक्कर के एक क्यूब के बराबर आकार के न्यूट्रॉन स्टार में 2 अरब टन से ज्यादा वजन हो सकता है, जो करीब-करीब धरती की सबसे ऊंची पर्वतीय चोटी माउंट एवरेस्ट के बराबर है।
न्यूट्रॉन स्टार किसी विशाल सितारे के मरने के बाद बची कोर होती है। वहीं, जब अंतरिक्ष में किसी तारे के टूटने से ऊर्जा पैदा होती है उसे सुपरनोवा कहा जाता है। इसके दौरान तारे की कोर का मैटर फटकर आसपास के स्पेस में फैल जाता है। यह किसी तारे का अंतिम समय होता है। हमारी आकाशगंगा में सुपरनोवा को देखना मुश्किल है क्योंकि वे अक्सर धूल से छिप जाते हैं।
सुपरनोवा का फायदा क्या?
नासा ने बताया कि सुपरनोवा का अवलोकन करने से रिसर्चर्स को ब्राह्मांड के फैलाव की दर को मापने में मदद मिलती है। यह ब्राह्मांड के भौतिक आधारों को समझने के लिए भी जरूरी तत्व है। सुपरनोवा का उपयोग आकाशगंगाओं की दूरियों को मापने के लिए एक मानक के रूप में किया जा सकता है। इससे यह भी पता लगता है कि एक आकाशगंगा दूसरी आकाशगंगा से कितनी तेजी से दूर जा रही है।